Friday, October 27, 2023

कुछ नया

 


 चलो जिंदगी ये नया करते हैं।

बेवफा को यादों से रिहा करते हैं।


जो खुश हैं हमारे बिना  उनको,

अपनी यादों से जुदा करते हैं।


गैरों से कर ली मोहब्बत बहुत,

अब खुद से प्यार, याखुदा करते हैं।


वो अपने, जो ताउम्र सपने  रहे,

नींद में ही, उन्हें क्यों छुआ करते हैं।


वो अपनी खता से बाखबर मंजरी,

फिर भी  बारहा खता करते हैं।

 *-मंजरी*

सोचा न था

 निगाहों से दिल में उतरकर यूं चला जाता है कोई सोचा न था। साथ चलते चलते  अचानक यूं छोड़ जाता है कोई  सोचा न था। बनकर करार बेकरारी दे जाता है ...